अक्सर सुरीले सुरों के रियास में खोये रहने वाले मुबईयां चन्द्र शेखर आजकल मुबई के अलग-अलग चटखारे चख रहे है. पाव की महिमा oyebangdu के साथ शेयर करने के बाद आज चाइनीज भेल खिला रहे है.
भेल का नाम सुनते ही वो मुरमुरे , टमाटर , प्याज , चटनी और अन्य चटपटे मसालों के मिश्रण का स्वाद जहन में आ जाता है. जी हां ये है सामान्य भेल जिसको हम भेल पूरी के नाम से भी जानते हैं. मगर आज मैं जिस भेल का जिक्र कर रहा हूं वो है चाइनीज भेल. भेल का जन्म मुंबई में भडंग नाम से हुआ बाद में यह भेल के नाम से हिंदुस्तान के कई शहरों में मशहूर हो गया. सामान्यतः अधिकांश लोग साधारण भेल के बारे में ही जानते हैं, मगर आजकल भेल एक नई वैराइटी के साथ पेश किया जा रहा है, जिसका नाम है चाइनीज भेल. यह भेल चाइनीज नूडल्स से प्रेरित है. क्यूंकि भेल चाइनीज लोग भी खाते हैं मगर वहां नाम कुछ और होता है. यह भेल मुरमुरे से न बनाकर बेसन के नूडल्स से बनाया जाता है. बेसन के नूडल्स और प्याज एवं हरी सब्जियों को बारीक काटकर आग में बहुत ज्यादा तापमान वाले तेल में मिक्स किया जाता है. फिर इसको चटनी और सॉस के साथ परोसा जाता है. यह भेल भी काफी जायकेदार होता है . इसलिये जब भी आप मुंबई पधारें चाइनीज भेल का आनंद जरूर लें.